kumari asav ke fayde in hindi

हेलो फ्रेंड्स आज हम बात करेंगे आयुर्वेद में प्रचलित और बहुत मानी हुई द्रव ओषधि कुमारी आसव के बारे में। ये एक सिरफ के रूप में उपलब्ध है इसका मुख्य कार्य पेट से संबंधी बीमारियों और पाचन से सम्बन्धी बीमारियों को जड़ से ख़त्म करने से है। जैसा की इसके नाम से ही स्पस्ट ही कुमारी अर्थात एलोवेरा, तो इसका मुख्य घटक एलोवेरा है Kumari asav एक आयुर्वेद की दवाई है तो kumari asav ke fayde in hindi में जानने से पहिले हम आसव के बारे में जानेगे उस के बाद में kumari asav ke fayde in hindi  के गुण, लाभ, और इसकी हानि के बारे में जानेगे। तो सटार्ट करते है।

आसव क्या है:  Asav kya hai:

आसव बहुत प्राचीन आयुर्वेदिक ओषधि है जिसकी खोज भारत में हुई थी आयुर्वेद में जो भी ओषधि बनाई जाती है वे कई प्रकार से बनाई जाती है उनमे से ही आयुर्वेद में ओषधि बनाने का इक प्रकार आसव है। जो द्रव की अवस्था में होता है। इसे आयुर्वेद में आसव कहा जाता है।

आसव कैसे बनता है। :asav kaise banta hai:

आसव बनाने की 2 विधि है
1: उबाल कर बनाना
2. बिना उबाले बनाना

1. उबाल कर बनाना : इस विधि में जब भी आसव बनाया जाता है तो उसको पहिले धीमी धीमी आंच में उबाला जाता है ताकि उसमे ओषधिया डाली है उनके गुण अच्छे से द्रव में मिल सके और उसके बाद उसे इक मिटटी के बर्तन में डाल कर के ऊपर से अच्छे से ढक कर कुछ दिन के लिए जमीन के अंदर रख देते है।

2. बिना उबाले बनाना: आसव बनाने के लिए ओषधियो को इक मिट्टी के बर्तन जिसे साधारण भाषा में मटका भी कहते है उसमे भर कर और ऊपर से अच्छे से ढक कर के कुछ समय के लिए जमींन के अंदर रख दिया जाता है अब जमीन के अंदर रखे रखे उसमे जो भी ओषधि डाला द्रव है इसमें कुछ रिएक्शन होने के कारण से इक ओषधि का रूप ले लेता है इस प्रकार आसव बनाया जाता है।

आसव के लाभ :asav ke fyade

आसव के लाभ के बारे में ऋषि सुश्रत अपनी किताब सुश्रुत सहिता के ४५ वे अध्याय में १९४ वे श्लोक में इस प्रकार से वर्णन करते है की जिंतने भी ये आसव है इनमे कई प्रकार की ओषधि को डाल कर बनाया जाता है और इसमें कई प्रकार के आयुर्वेदिक तरिके से प्रोसेस किया जाता है इसलिए इसके जो गुण अन्य किसी भी तरल या द्रव से कही अधिक होती है।

1. अनेक दोषो में कारगर:

अगर सरीर में वात, पित्त, कफ जैसे दोष हो या इक से ज्यादा दोष भी हो उनको खत्म करने में आसव का बहुत ही ज्यादा कारगर साबित होती है। आसव त्रिदोष को पूर्ण रूप से नियंत्रित करने में बहुत ही कारगर है और इसका इक फायदा ये भी है की इसका कोई भी साइड इफ़ेक्ट नहीं है आप चाहे जितने दिन नियत्रित मात्रा में सेवन कर सकते है।

2.रक्त से जुडी समस्याओ में कारगर :

हमारे सरीर में रक्त द्रव अवस्था में होता है और जो प्लाज्मा है वो भी द्रव अवस्था में है तो जो भी रक्त और प्लाज्मा जो भी द्रव हमारे सरीर में है अगर उनमे कोई भी बीमारिया हो तो आसव उसमे बहुत अच्छा प्रभाव दिखाता है।

3. पाचन शक्ति बढ़ाता है :

जिस भी वयक्ति को भूक कम लगती हो या ना के बराबर लगती हो तो उनके लिए रामबाण ओषधि के रूप में काम करता है। इसके सेवन से पाचन शक्ति में सुधार होता है।

4. पेट साफ़ करने में मददगार :

बहुत लोगो को पेट से संबंदित सभी बिमारियो को ठीक करने में बहुत सहायक है।

अब हम देखेंगे की kumari asav ke fayde in hindi क्या है और किन किन बीमारियों में काम करता है और कैसे इसका इस्तेमाल किया जाना चाहिए।

kumari asav ke ghatak:

कुमारी आसव में मुख्य रूप से अलोएवेरा का जूस , गुड़ , लोह भसम , नागकेसर, हरीतिकी, पुष्कर और अन्य जड़ी बुटिया शामिल है और चीनीमिट्टी के बर्तन में इसको 1 महीने डालकर रखा जाता है उसके बाद निकल कर छान कर इस्तेमाल किया जाता है। साथ ही जो बड़ी कम्पनिया होती है वे बड़ी सागवान की बड़ी टंकी बनवाती है और उसमे 1 महीने तक भरकर रखते है

कुमारी आसव की मात्रा : quantity of kumari asav in hindi

कुमारी आसव का उपयोग करने के लिए 4 से 6 चम्मच यानि 15 से 20mg भोजन के बाद इस्तेमाल कर सकते है

कुमारी आसव के सेवन का तरीका:kumari asav lene ka tarika

जितनी मात्रा में कुमारी आसव डाली जाती है समान मात्रा में पानी डालकर लेना चाहिए। लकिन कुछ लोग आधा कप पानी का भर कर उसमे कुमारी आसव डाल कर पीते है जो की गलत तरीका है कुमारी आसव को हमेसा जितनी दवाई उतना ही पानी डाल कर लेने से अच्छा फायदा मिलता है।

कुमारी आसव कितने दिन इस्तेमाल करना है :kumari asav ka kitne din upyog kare

जिन लोगो की बीमारी बिलकुल नई है उनको 1 महीने में आराम आ जायेगा और जिनकी ज्यादा पुरानी बीमारी है उनको 4 से 5 महीने में आराम आता है

कुमारी आसव को छोड़ने का तरीका :kumari asav ko kaise chode

जैसे की कुमारी आसव को लेते 4 महीने हो गए और अब आप की बीमारी में पूरा आराम आ गया तो इसके लिए पहिले 2 टाइम से 1 टाइम करे फिर धीरे धीरे 1 दिन का अंतराल दे और फिर 2 दिन का अंतराल दे इस प्रकार से धीरे धीरे करके इसको छोड़ दे

कुमारी आसव का स्वाद : taste of kumari asav in hindi

वैसे तो इसका स्वाद मीठा और हल्का सा तीखा होता है , जब हम कुमारी आसव को पीते है तो थोड़ी देर के लिए गले में बहुत हलकी सी जलन महसूस होती है। लेकिन वह कुछ टाइम तक ही रहती है थोड़ी देर या बोल सकते है 30 सेकंड में सामान्य हो जाते है।

कुमारी आसव बनाने वाली कंपनी :kumari asav banne wali company:

कुमारी आसव बनाने वाली बाजार में अनेको कंपनी मौजूद है उनमें कुछ नाम ये है baidynath , patanjali ,dabur आदि

कुमारी आसव की कीमत :price of kumari asav in hindi

अलग अलग कंपनी की कीमत अलग अलग होती है लेकिन में आप को इक एवरेज कंपनी patanjali की 450 की बॉटल की कीमत 120 रुपीये है।

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कुमारी आसव के 7फायदे:7 kumari asav ke fayde in hindi

1.पेट में गैस का गोले में फायदा :pet gas me kumari asav ke fayde in hindi

जिन वयक्तियो को पेट में गैस का गोला या गर्मी का गोला, या चर्बी का गोला सा महसूस होता है जिसे गुलाम रोग भी बोलते है उनके लिए कुमारी आसव रामबाण ओषधि का काम करता है इसके लिए खाने के बाद लेने से फायदा होता है।

2. पेट दर्द में उपयोगी :pet dard me kumari asav ke fayde in hindi

जिन व्यक्तियों को पेट में दर्द की बार बार शिकायत रहती है जैसे कभी खाली पेट या कई बार खाना खाने के बाद ऐसे पेट दर्द होता है तो उन लोगो के लिय बहुत फायदेमंद होती है

3.बढ़े हुए लिवर में फायदेमद: liver me kumari asav ke fayde in hindi

जिन लोगो का लिवर बढ़ जाता हैउनके लिए भी कुमारी आसव का सुबह और शाम में गर्म पानी के साथ लेने से फायदा होता है।

4.नले में दर्द में फायदा: nale ke dard me kumari asav ke fayde in hindi

जिन व्यक्तियों के नले में दर्द होता है नले पेट में छोटी आत के निचे होते है। तो नाले में दर्द क्यों होता है जब हम जरूरत से ज्यादा काम कर लेते है या ज्यादा भारी सामान उठा ले तो नले में दर्द होने लग जाता है। तो जिनको लगातार नलो में दर्द रहता ह उनके लिए भाई कुमारी आसव अच्छी ओषधि है।

5.जुकाम में कारगर :jukam me kumari asav ke fayde in hindi

जिनको बार बार जुकाम लगाती है और वे बार बार दवाई लेते है तो उसका प्रभाव ये होता है की जुकाम की दवाई गर्म होती है और बार बार लेने से पे में गर्मी हो जाती है जिस से जुकाम जल्दी ठीक नहीं होती है उनके लिए भाई कुमारी आसव प्रभावकारी है।

6.दमे में फायदेमंद: dame me kumari asav ke fayde in hindi

जिन लोगो का थोड़ा सा काम करते ही सास फूलने लगती है या खासी तंग करती है उनके लिए भी कुमारी आसव अत्यंत फायदेमंद है। क्युकी इसमें जो अलोएवेरा और अन्य जड़ी बूटी होती है वो हमारे तीनो दोषो को नियंत्रित करती है। और कफ को पिग्ला कर पूरी तरह ख़तम कर देती है जिस से जुखाम नहीं लगती और फेफड़े मजबूत रहते है।

7.पाचन बढ़ाने में सहायक :pachan me kumari asav ke fayde in hindi

जिन वयकितयो को भूक नहीं लगती या भूक बहुत काम लगती है उनके लिए भाई ये बहुत फायदेमद है १ महीने में ही उनकी पाचक अग्नि अच्छी हो जाती है और खुलकर भूक लगने लग जाती है।

दोस्तों मैंने kumari asav ke fayde in hindi में बताये है तो उम्मीद है आपको जानकारी अच्छी लगी होगी। kumari asav ke fayde in hindi में हमने कुमारी आसव के लाभ इसके सेवन की विधि और इसके नुकसान के बारे में देखा और कुछ भी नई जानकारी मिली हो तो सब्सक्राइब और अपने सोशल मीडिया पर जरूर शेयर करे इसके लाभ जरूर उठाएंगे।

FAQ:

क्या kumari asav की लत लग जाती है ?
कई लोग बोलते है ये सराब की तरह बनती है तो क्या इसकी लत भी लग जाती है, जी बिलकुल नहीं इसकी आदत नहीं पड़ती है। इसलिए आप निश्चिंत होकर इसका सेवन कर सकते है।

kumari asav को कब लेना चाहिए ?
कुमारी आसव को सुबह और रात में खाना खाने के बाद ले सकते है।

kumari asav को कितनी मात्रा में लेना चाहिए ?
कुमारी आसव को 15 से 20 mg तक लेना चाहिए। अगर कुछ ज्यादा समस्या हो तो डॉक्टर की सलाह अवस्य ले।

kumari asav कितने दिनों में असर करती है ?
कुमारी आसव आयुर्वेदिक ओषधि है तो इसका असर धीरे धीरे दिखाई देता है। लगभग 1 सप्ताह में इसका असर दिखाई देता है

क्या kumari asav में अल्कहॉल होता है ?
कुमारी आसव में बहुत काम मात्रा में अल्कोहल होता है लेकिन वो मिलाया नहीं जाता बल्कि इसके बनाने के प्रोसेस में ही प्राकृतिक रूप से अपने आप बन जाता है। लेकिन इसकी इतनी काम मात्रा होती है की इसका पता भी नहीं चलता है।

 

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